नोटबंदी के बाद देश के कुल 23.22 लाख बैंक खातों में 3.68 लाख करोड़ रुपये की भारी नकदी जमा की गई है, जो संदेहास्पद है और उसकी जांच की जा रही है.
नोटबंदी के बाद देश के कुल 23.22 लाख बैंक खातों में 3.68 लाख करोड़ रुपये की भारी नकदी जमा की गई है, जो संदेहास्पद है और उसकी जांच की जा रही है. केंद्रीय पोत परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने बुधवार को यह बातें कही. उन्होंने कहा कि इसके अलावा करीब 17.73 लाख मामलों की पहचान की गई है, जिसमें नकद लेनदेन निजी आयकर प्रोफाइल से नहीं मिलती है. गडकरी ने नोटबंदी की पहली वर्षगांठ पर मीडिया वालों से कहा, “अब नंबर 1 (सफेद) और नंबर दो (काला) अर्थव्यवस्था खत्म हो गई है.हम अब डिजिटल और कैशलेस अर्थव्यवस्था की तरफ बढ़ रहे हैं.”
उन्होंने कहा कि अब लोग सब्जी और अनाज भी डिजिटल भुगतान के माध्यम से ऑनलाइन खरीद रहे हैं, टोल प्लाजा कैशलेस हो रहे हैं और लोग होटल और रेस्टोरेंट में भी डेबिट क्रेटिड कार्ड के माध्यम से कैशलेस भुगतान कर रहे हैं. मंत्री ने कहा, “डिजिटल लेनदेन 58 फीसदी बढ़ा है.आतंकवादी और माओवादी घटनाओं पर लगाम लगी है तथा हवाला व्यापार खत्म हो गया है.”
नोटबंदी के अन्य फायदों को गिनवाते हुए गडकरी ने कहा कि शेल कंपनियों पकड़ी गई है और उन्हें बंद कराया जा रहा है, जबकि कई हवाला और काले धन के लेनदेन पकड़े गए हैं, जिसकी संबंधित एजेंसियां जांच कर रही है. जम्मू और कश्मीर में आतंकवाद पर बोलते हुए उन्होंने कहा कि पत्थरबाजी की घटनाओं में कमी आई है और नकली नोट की समस्या भी दूर हुई है.इससे भविष्य में अर्थव्यवस्था को फायदा होगा.