पाकिस्तान के खिलाफ 1971 के युद्ध में भाग ले चुके 27 भारतीय पूर्व सैनिकों और चार मौजूदा अधिकारियों को सम्मानित किया गया.
बांग्लादेश ने 1971 के युद्ध में पाकिस्तान के खिलाफ जीत की वर्षगांठ के मौके पर शनिवार (16 दिसंबर) को ‘विजय दिवस’ मनाया और 27 भारतीय योद्धाओं को सम्मानित किया. राष्ट्रपति अब्दुल हामिद और प्रधानमंत्री शेख हसीना ने यहां उपनगरीय इलाके सावर में राष्ट्रीय स्मारक पर पुष्प अर्पित किये. विजय दिवस के मौके पर 31 तोपों की सलामी दी गई. बाद में हामिद सैन्य बलों की परेड में मुख्य अतिथि के तौर पर शामिल हुए. ढाका के नेशनल परेड स्क्वायर में आयोजित कार्यक्रम में प्रधानमंत्री भी उपस्थित रहीं.
पाकिस्तान के खिलाफ 1971 के युद्ध में भाग ले चुके 27 भारतीय पूर्व सैनिकों और चार मौजूदा अधिकारियों को सम्मानित किया गया. वे 14 दिसंबर को यहां पहुंचे थे. बांग्लादेशी सेना प्रमुख जनरल अबू बिलाल मुहम्मद शफीउल हक ने इन भारतीय योद्धाओं के लिए स्वागत समारोह का आयोजन किया जिसमें रूस के कुछ पूर्व सैन्यकर्मी भी शामिल हुए थे.
बांग्लोदश मुक्ति संग्राम के दिग्गजों ने मनाया विजय दिवस
वहीं दूसरी ओर चार दशक पहले बांग्लादेश को मुक्त कराने के लिए एक साथ लड़ने वाले दिग्गज सैनिकों और बांग्लादेशी मुक्ति-योद्धाओं ने पाकिस्तान पर जीत की 46वीं वर्षगांठ मनाने के लिए शनिवार (16 दिसंबर) को कोलकाता में एक साथ आए. विजय दिवस के समारोह के रूप में फोर्ट विलियम में पूर्वी सेना मुख्यालय में रखे विजय स्मारक में एक स्मारक सेवा आयोजित की गई.
इस समारोह में बांग्लादेश के आवास और लोक निर्माण व वास्तु विद्या मंत्री मोशर्रफ हुसैन के नेतृत्व में 71 सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल ने भाग लिया. इसमें बांग्लादेश सशस्त्र बलों के 6 सेवारत अधिकारी और 30 मुक्तियोद्ध शामिल थे. मुक्तियोद्धा कोलकाता में पिछले 12 वर्षों से विजय दिवस समारोह में भाग ले रहे हैं. इस पवित्र समारोह के आयोजन की शुरुआत ‘ऐ मेरे वतन के लोगों’ और ‘वंदे मातरम’ जैसे गानों से हुई. इन गीतों की धुन सेना के बैंड ने बजाई.
दिग्गजों, बांग्लादेशी प्रतिनिधिमंडल के सदस्यों और तीनों सेवाओं के प्रतिनिधियों द्वारा पुष्पांजलि अर्पित की गई. वर्दीधारी कर्मचारियों, दिग्गजों, नागरिकों, स्कूल के बच्चों और एनसीसी कैडेटों ने 1971 के युद्ध में सर्वोच्च बलिदान देने वालों को श्रद्धांजलि अर्पित करने के लिए दो मिनट का मौन रखा.